
( झाबुआ। संजय जैन। ) हरी सब्जी के भाव में एक बार फिर उछाल आया है। एक सप्ताह में हर सब्जी 10 से 15 रुपए प्रति किलो महंगी हुई है। सब्जी के भाव तेज होने का मुख्य कारण आवक कम और डिमांड ज्यादा होना बताया जा रहा है। हरी सब्जी महंगी होने से गृहणियों का बजट बिगड़ रहा है, जिससे वह काफी नाराज दिख रही हैं।
निरंतर कम हो रही सप्ताह से सब्जी की आवक……..………………….
जानकारी के अनुसार मंडी में बीते एक सप्ताह से सब्जी की आवक निरंतर कम हो रही है। लोकल से जो सब्जी बाजार में आ रही थी,वह करीब-करीब बंद हो गई है। सब्जी की आवक कम होने का कारण सितंबर में हुई बारिश को बताया जा रहा है। तेज बारिश से डूब क्षेत्र में अधिकांश जगह सब्जी की फसल बर्बाद हो गई और इधर-उधर से जो सब्जी की पैदावार हुई,उसकी आवक निरंतर कम होती जा रही हैं। ऐसे में बीते एक सप्ताह से निरंतर सब्जी के भाव तेज हो रहे है
कुछ दिन नहीं मिलेगी राहत…………………………
फल सब्जी मंडी व्यापारियो ने बताया कि थोक सब्जी मंडी में निरंतर आवक कम हो रही हैए इससे भाव बढ़ रहे हैं। अभी त्योहारी सीजन शुरु होने वाला हैए इसलिए भाव कम होने की उम्मीद कम है। डेढ़ महीने बाद नई सब्जी की आवक शुरु हो जाएगी,उसके बाद सब्जी के भाव में कमी आएगी।
व्यापारी भी नाखुश……………
सब्जी के भाव तेज होने से केवल गृहणी ही नाराज नहीं है,व्यापारी भी इससे खुश नहीं हैं। व्यापारी राजेश ने बताया कि हरी सब्जी के भाव तेज होने व्यापार ठंडा हो गया है। दूसरा माल बच रहा है, हरी सब्जी को ज्यादा दिन तक रखा नहीं जा सकता, इसमें खराब होने पर ज्यादा नुकसान होता है। गृहणी उमा शर्मा ने बताया कि पहले 100 रुपए की सब्जी में थैला भर जाता था,लेकिन अब 180 रुप में भी थैला नहीं भर रहा है। सब्जी के भाव एक सप्ताह से निरंतर बढ़ रहे हैं, जिसके चलते रसोई का बजट बिगड़ रहा है।
एक सप्ताह में सब्जी के भाव……………………
सब्जी पहले अब
गिलकी 20 40
मिर्ची 20 40
टमाटर 20 30
लोकी 20 40
फली 20 40
गोभी 30 50
आलू 20 20
(नोट-भाव प्रति किलो में)
